कोलकाता, पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भजीते व टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव सांसद अभिषेक बनर्जी ने शुक्रवार को पार्टी नेताओं को हिदायत देते हुए कहा कि वे ‘फंड की उगाही न करें, नहीं तो उन्हें पार्टी से बाहर कर दिया जाएगा।’ दरअसल अभिषेक बनर्जी ने 21 जुलाई को शहीद दिवस रैली के लिए फंड जुटाने के खिलाफ आगाह किया और कहा कि निर्देशों का उल्लंघन करने वाले को अनुशासनात्मक कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।
टीएमसी सांसद अभिषेक बनर्जी ने दो साल के अंतराल के बाद एस्प्लेनेड में होने वाली रैली की तैयारियों को लेकर आज पार्टी के वरिष्ठ नेताओं, जिला अध्यक्षों और टीएमसी के अग्रिम संगठनों के सदस्यों के साथ एक बैठक की। तृणमूल के एक नेता ने बैठक के बाद कहा कि बैठक के दौरान, अभिषेक बनर्जी ने सभी को यह सुनिश्चित करने के लिए कहा कि आगामी शहीद दिवस रैली के लिए कार्यकर्ताओं द्वारा कोई धन नहीं जुटाया जाए। उन्होंने इस आदेश का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी दी है। ऐसा करने पर पार्टी से निष्कासन भी हो सकता है।
अभिषेक बनर्जी ने कहा कि डायमंड हार्बर से सांसद एवं राज्य की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे ने भ्रष्ट नेताओं को पार्टी से बाहर निकालने की जरूरत पर बल दिया। टीएमसी नेता ने कहा कि उन्होंने (अभिषेक बनर्जी ने) हमें बताया है कि रैली का सारा खर्च पार्टी संगठन उठाएगा। हमें केवल कार्यक्रम में अधिक से अधिक लोगों की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है।
टीएमसी महासचिव पार्थ चटर्जी ने बंद कमरे में बैठक के बाद एक संवाददाता सम्मेलन में कहा कि रैली में उत्तर बंगाल के अधिक लोगों को लाने के प्रयास किए जाएंगे। उन्होंने कहा कि इस बार, हम सभी रिकॉर्ड तोड़ देंगे। हमने अपने नेताओं से उत्तर बंगाल से और लोगों को लाने को कहा है। हम 21 जुलाई की रैली में आम लोगों की अधिक से अधिक भागीदारी चाहते हैं।
वर्ष 1993 में पुलिस फायरिंग में मारे गये 13 लोगों की याद में टीएमसी द्वारा प्रतिवर्ष ‘शहीद दिवस’ मनाया जाता है।
गौरतलब है कि उस वक्त तत्कालीन युवा कांग्रेस नेता ममता बनर्जी ने सचिवालय तक मार्च निकाला था और उनकी मांग थी कि मतदाता पहचान पत्र को लोगों को अपने मताधिकार के इस्तेमाल की अनुमति देने वाला एकमात्र दस्तावेज बनाया जाए।